दुमका । झारखंड ऑपरेशन लोटस मामले में बंगाल के हावड़ा में रानीहाटी मोड़ पर शनिवार की रात करीब 48 लाख रुपये के साथ झारखंड के तीन विधायकों के पकड़े जाने के के बाद गोड्डा के पूर्व कांग्रेस सांसद सह जामताड़ा विधायक इरफान अंसारी के पिता ने तीखी प्रतिक्रिया दी है। उन्‍होंने कहा कि पार्टी के जो नेता तीनों विधायकों के निलंबन की बात कर रहे हैं, उन्‍हें पहले तीनों को शोकॉज करना चाहिए था। अगर संतोषजनक जवाब नहीं मिलता तो निलंबन की कार्रवाई की जा सकती थी। वहीं उन्‍होंने कहा कि गाड़ी में महज 48 लाख रुपये मिले, यानी देखें तो औसतन एक विधायक के 16 लाख रुपये। इस रकम में सरकार ना तो गिराई जा सकती है और ना ही खरीदी। कांग्रेस विरोधी गतिविधियां किसी की बर्दाश्‍त नहीं, फिर चाहे वह उनका बेटा ही क्‍यों ना हो!
मालूम हो कि जामताड़ा के विधायक डाक्‍टर इरफान अंसारी के अलावा खिजरी विधायक राजेश कच्छप और कोलेबिरा के कांग्रेस विधायक नमन विक्सल कोंगाड़ी को बंगाल में नोटों को साथ पकड़ा गया। मामले में पार्टी की ओर से तीनों को निलंबित कर दिया गया है। मामले में फुरकान अंसारी ने कहा कि अगर कोई भी विधायक कांग्रेस विरोधी काम करेगा तो उसे बर्दाश्त नहीं किया जाएगा, फिर चाहे वह उनका बेटा ही क्यों ना हो। फुरकान ने कहा कि इस पूरे मामले की पारदर्शिता व निष्पक्ष तरीके से जांच होनी चाहिए।
फुरकान ने कहा कि तीनों विधायक शनिवार को जामताड़ा से कोलकाता के लिए रवाना हुए थे। आठ सितंबर को विश्व आदिवासी दिवस मनाया जाना है। इसके लिए तीनों साड़ी खरीदने गए थे। पहले भी डाक्‍टर इरफान महिलाओं के बीच साड़ी बांटते आए हैं। इस बार भी वह साड़ी खरीदने ही कोलकाता गए थे। कहा कि किसी ने साजिश के तहत इन्‍हें बदनाम करने के लिए झारखंड और पश्चिम बंगाल की पुलिस को सूचना देकर तीनों को ट्रैप कराया है। उन्‍होंने कहा कि दिलचस्प बात यह है कि पूरे मामले में मीडिया में जो खबर आई, उसमें करोड़ों रुपये बरामद होने की जानकारी फ्लैश की गई, जो कि पूरी तरह से निराधार है। मात्र 48 लाख रुपये बरामद हुए हैं। मतलब यह कि तीनों 16-16 लाख रुपये लेकर ही कोलकाता गए थे। फुरकान ने कहा कि झारखंड सरकार को गिराने की कीमत क्या 16 लाख रुपये है? यह बात यहां की सरकार को भी समझनी चाहिए। कहा कि झारखंड सरकार को ना तो अपदस्थ करने की कोई कोशिश हुई है और ना ही कोई सरकार विरोधी काम कर रहा है।
गौरतलब है कि तीनों विधायकों के बिना सूचना विधानसभा के मानसून सत्र से निकल जाने की भी खबरें आईं। इस पर फुरकान ने कहा कि तीनों विधायक हैं, किसी के नौकर नहीं! विधानसभा की कार्रवाई पूरी होने के बाद ही तीनों निकले थे और जब सत्र दोबारा आयोजित होता तो फिर यह जरूर हाजिर होते। इसलिए यह सारी बातें निराधार हैं। गौरतलब है कि इरफान अंसारी शुक्रवार को विधानसभा के मानसून सत्र के पहले दिन सत्र आरंभ होने के पहले पहुंचे और मुख्य द्वार के समक्ष धरने पर बैठे। विधानसभा की कार्यवाही समाप्त होने के बाद वह परिसर में आयोजित वन महोत्सव कार्यक्रम में पहुंचे। वहां से मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन के आने के पहले ही निकल गए थे।
तीनों विधायक काले रंग की जिस फार्च्‍यूनर कार (जेएच 09 एक्‍यू 0016) में पकड़े गए, वह बोकारो में रजिस्‍टर्ड है। उक्त गाड़ी का मालिक हाजी कासिम अली अंसारी का पुत्र नईम अंसारी है, जो पेशे से ठेकेदार है। बताया जाता है कि उसने इरफान को यह गाड़ी तोहफे में दी थी और लंबे समय से विधायक इरफान अंसारी इस गाड़ी का इस्तेमाल कर रहे थे।