एक वर्ष में आरक्षक से निरीक्षक स्तर के 10528 पुलिसकर्मियों को प्रशिक्षित किया गया

मध्यप्रदेश मानव अधिकार आयोग द्वारा एक मामले में की गई कुल छःह अनुशंसाओं का राज्य शासन के गृह विभाग द्वारा पूर्ण पालन कर लिया गया है। मामला वर्ष 2017 का है।
भोपाल के एक दैनिक समाचार पत्र में प्रकाशित ‘‘गैंगरेप की शिकार पुलिस अफसर की बेटी थाने-थाने भटकी, आरपीएफ थाने से सौ मीटर दूरी पर दिया गया घटना को अंजाम’’ शीर्षक खबर पर आयोग ने संज्ञान लेकर मामले की निरंतर सुनवाई उपरांत राज्य शासन को कुल छःह अनुशंसायें की थीं।
आयोग के प्रकरण क्र. 8132/भोपाल/2017 में की गई इन छह अनुशंसाओं के परिपालन में गृह विभाग के अवर सचिव श्री अन्नू भलावी ने आयोग को प्रतिवेदन दिया है कि आयोग की पहली अनुशंसा के पालन में थाना जीआरपी हबीबगंज के अपराध क्र. 182/17 धारा 376 (डी), 394,34 भादवि. की पीड़िता को उसके साथ हुई दुर्घटना की प्राथमिकी दर्ज कराने में हुए विलंब के संबंध में तीन निरीक्षकों एवं दो उप निरीक्षकों के विरूद्ध विभागीय जांच की गई। जांच उपरान्त निरीक्षक संजय सिंह बैस, तत्कालीन थाना प्रभारी, एम.पी.नगर, भोपाल की एक वेतनवृद्धि संचयी रूप से रोकने, निरीक्षक रविन्द्र यादव, तत्कालीन थाना प्रभारी, हबीबगंज की दो वेतनवृद्धि संचयी रूप से रोकने, निरीक्षक मोहित सक्सेना, तत्कालीन थाना प्रभारी, जीआरपी हबीबगंज को पांच वर्ष के लिये निरीक्षक पद के न्यूनतम वेतनमान पर पदावनत (डिमोशन) करने, उपनिरीक्षक रामनाथ टेकाम, तत्कालीन थाना एमपी नगर एवं उपनिरीक्षक भवानी प्रसाद उईके तत्कालीन थाना जीआरपी हबीबगंज दोनों को बाध्य सेवानिवृत्ति (कम्पलसरी रिटायरमेन्ट) के दंड से दंडित किया गया है। पीड़िता को उसके साथ हुये अमानवीय व्यवहार के लिये उसे एक लाख रूपये मुआवजा राशि भुगतान कर दी गई है। दूसरी अनुशंसा के पालन में पुलिस मुख्यालय, भोपाल द्वारा मध्यप्रदेश में वित्त वर्ष 2018-19 के दौरान आरक्षक से निरीक्षक स्तर के कुल 10 हजार 528 पुलिसकर्मियों को महिला अपराध के प्रति संवेदनशीलता/दक्षता उन्नयन विषय पर प्रशिक्षित किया गया। तीसरी अनुशंसा के पालन में पुलिस मुख्यालय, भोपाल द्वारा परिपत्र जारी कर धारा 154 सीआरपीसी के तहत शीघ्र एफआईआर दर्ज करने के संबंध में दिशा-निर्देश जारी कर दिये गये हैं। चौथी अनुशंसा के पालन के संदर्भ में पुलिस मुख्यालय, भोपाल द्वारा कुल 10 हजार 528 पुलिसकर्मियों को महिला अपराध के प्रति प्रशिक्षित किया गया। पांचवी अनुशंसा के पालन में पुलिस मुख्यालय, भोपाल द्वारा मध्यप्रदेश की सभी जिला इकाईयों को महिला पुलिस स्टाॅफ की पदस्थापना के संबंध में आवश्यक दिशा-निर्देश जारी कर दिये गये हैं।
इसी प्रकार छठवीं अनुशंसा के पालन में पुलिस मुख्यालय, भोपाल द्वारा मध्यप्रदेश के बड़े शहरों में थानास्तर पर कानून व्यवस्था की ड्यूटी तथा अन्य व्यवस्थाओं के कारण पुलिस अनुसंधान पर पड़ रहे असर का अध्ययन कराया जायेगा। थानास्तर पर अपराधों की प्रथम सूचना का सामयिक पंजीयन तथा गंभीर अपराधों तथा गंभीर अपराधों के त्वरित अनुसंधान हेतु जवाबदार व समर्पित योग्य बल की उपलब्धतानुसार व्यवस्था की जा रही है।