अमेरिका के केंद्रीय बैंक की ओर से मार्च में ब्याज दरों में बढ़ोतरी के ऐलान से वैश्विक स्तर पर महंगाई बढ़ने का डर पैदा हो गया है और वैश्विक बाजारों में गिरावट बनी हुई है। इसका असर सोमवार को घरेलू शेयर बाजार में भी दिखा। बांबे स्टॉक एक्सचेंज (बीएसई) का तीस शेयरों वाला संवेदी सूचकांक सेंसेक्स दो महीने बाद की सबसे बड़ी 1545.67 अंक की एकदिनी गिरावट के साथ 57,491.51 अंक पर बंद हुआ। इससे पहले सेंसेक्स 26 नवंबर 2021 को 1687.9 अंक लुढ़का था। इसी तरह नेशनल स्टॉक एक्सचेंज (एनएसई) का निफ्टी 468.05 अंक लुढ़ककर 17,149.10 अंक पर आ गया। दिग्गज कंपनियों की तरह छोटी और मझोली कंपनियों में भी जमकर बिकवाली हुई। बीएसई का मिडकैप 3.82 फीसदी का गोता लगाकर 23,998.73 अंक और स्मॉलकैप 4.43 फीसदी की बड़ी गिरावट लेकर 28,638.23 अंक पर रहा।

निवेशकों की निवेश धारणा कमजोर रहने से बीएसई के सभी 19 समूह ढेर हो गए। रियल्टी समूह ने सबसे अधिक 5.94 फीसदी का नुकसान उठाया। इसी तरह बेसिक मैटेरियल्स में 4.47, सीडीजीएस में 3.99, ऊर्जा में 3.52, एफएमसीजी में 2.41, वित्त में 2.35, हेल्थकेयर में 2.47, इंडस्ट्रियल्स में 3.90, आईटी में 3.30, दूरसंचार में 2.29, यूटिलिटीज में 2.93, ऑटो में 2.65, बैंकिंग में 1.65, कैपिटल गुड्स में 3.28, कंज्यूमर ड्यूरेबल्स में 4.14, धातु में 5.03, तेल एवं गैस में 2.24, पावर में 2.71 और टेक समूह के शेयरों में 3.00 फीसदी तक की गिरावट रही।

वैश्विक स्तर पर बनी इस स्थिति का असर शेयर बाजार पर स्पष्ट देखा गया। ब्रिटेन का एफटीएसई 0.96, जर्मनी का डैक्स 1.51 और हांगकांग का हैंगसैंग 1.24 फीसदी लुढ़क गया। हालांकि, जापान के निक्केई और चीन के शंघाई कंपोजिट में रिकवरी हुई और ये मामूली बढ़त पर रहे। घरेलू शेयर बाजारों में बीते पांच दिनों से चल रही गिरावट से निवेशकों के 20 लाख करोड़ रुपए से ज्यादा डूब चुके हैं। सोमवार 17 जनवरी को सेंसेक्स का बाजार पूंजीकरण 280 लाख करोड़ रुपए से ज्यादा था, जो अब गिरकर 260.49 लाख करोड़ रुपए पर आ गया है। बीते पांच दिनों में सेंसेक्स में 3817 अंकों की गिरावट हो चुकी है। आईआईएफएल सिक्योरिटीज के वाइस प्रेसीडेंट अनुज गुप्ता कहते हैं कि वैश्विक बाजारों के चलते घरेलू बाजारों में अभी और गिरावट रह सकती है। चुनाव से पहले निवेशकों की मुनाफावसूली रहेगी। साथ ही बजट में कोई खास उम्मीद नहीं दिख रही है। क्रूड की ऊंची कीमतों के कारण भी नकारात्मक भावना बनी हुई है।