छिंदवाड़ा // जिला अदालत के अधिवक्ताओं ने न्याय के बदले निराकरण के रवैये के विरोध में अपने प्रतिवाद दिवस को बढ़ाकर 31 मार्च तक कर दिया है। लिहाजा, अब अगले 2 सप्ताह वकील अदालतों में पैरवी के लिए हाजिर नहीं होंगे। 

जिला बार अध्यक्ष ने बताया कि पूर्व निर्धारित रणनीति के तहत 19 March के बाद प्रतिवाद दिवस को बढ़ाकर 31 मार्च तक कर दिया है।इसी बीच जिला बार कार्यकारिणी की आपात बैठक आहूत हुई। इसमें जिला अधिवक्ता संघ छिन्दवाड़ा की कार्यकारिणी द्वारा दिनां17-3-2023 को प्रतिवाद दिवस की रूपरेखा बनाने के संबंध में अधिवक्ताओं की आमसभा का आयोजन किया गया था आमसभा में सभी सम्मानीय अधिवक्तागण द्वारा प्रतिवाद दिवस की तिथि को आगे बढाने एवं प्रतिवाद के स्वरुप के सबंध में मार्गदर्शन दिया . आमसभा के मार्गदर्शन के आधार पर जिला अधिवक्ता संघ छिन्दवाड़ा द्वारा प्रतिवाद दिवस की तिथि को 19-3-2023 से बड़ा कर 31-3-2023 करने का निर्णय लिया है.जिला अधिवक्ता संघ छिन्दवाड़ा द्वारा सभी आदरणीय सदस्य अधिवक्ताओं ने कार्यकारिणी का मार्गदर्शन किया एवं सहियोग किया उसके लिए एवं आमसभा को सफल बनाने के लिए सभी सम्मानीय अधिवक्ता गणों को धन्यवाद एवं आभार व्यक्त किया गया साथ ही जिला अधिवक्ता संघ छिन्दवाड़ा का अनुसरण करते हुए एवं प्रतिवाद दिवस के संबंध में साथ देने के लिए सभी तहसील अधिवक्ता संघो की कार्यकारिणी एवं सदस्यों को भी धन्यवाद एवं आभार व्यक्त किया गया साथ ही निवेदन किया गया कि भविष्य में भी अधिवक्ता हित को ध्यान में रखते हुए सहयोग करें .

25 पुराने प्रकरण तीन माह में निराकृत करने के दबाव से आक्रोश में है अधिवक्तागण

जिला बार अध्यक्ष बताया कि हाई कोर्ट ने राज्य की सभी अधीनस्थ अदालतों को निर्देश दिया है कि विगत वर्ष की भांति इस वर्ष भी पुराने प्रकरणाें को सूचीबद्ध किया जाए। इसके साथ ही तीन माह की निर्धारित समय-सीमा के भीतर 25 पुराने प्रकरण हर हाल में निराकृत किए जाएं। चूंकि इससे पक्षकारों के मामलों का निराकरण भर होगा किंतु न्याय मिलने की उम्मीद हाशिये में चली जाएगी। इसीलिए विरोध किया जा रहा है। न्याय का उद्देश्य विफल होने के संकट के विरुद्ध वकील एकजुट हो गए हैं।

 

न्यूज़ सोर्स : अदालतों में पैरवी के लिए हाजिर नहीं होंगे अधिवक्ता