अंबिकापुर | छत्तीसगढ़ के बलरामपुर जिले के राजपुर वन परिक्षेत्र अंतर्गत ग्राम करवां में बीती रात महान नदी किनारे मछली मार रहे पहाड़ी कोरवा ग्रामीण को जंगल में पहुंचे 32 हाथियों के दल ने घेरकर कुचल कर मार डाला। मृतक ग्रामीण के साथ मछली मार रहे दो अन्य ग्रामीणों ने भागकर जान बचाई। मंगलवार सुबह सूचना पर वन विभाग के अधिकारी अमले के साथ मौके पर पहुंचे और नदी से ग्रामीण का शव बाहर निकाला। हाथियों का दल अलखडीहा के जंगल में डटा हुआ है। वन अमले ने आसपास के गांवों में मुनादी कराकर ग्रामीणों को सतर्क कर दिया है और जंगल की ओर न जाने की सलाह दी है।

तीन दिन पूर्व प्रतापपुर के जंगलों की ओर से राजपुर क्षेत्र के गोपालपुर के जंगल में पहुंचा 32 हाथियों का दल गोपालपुर के जंगल में विचरण कर रहा था। हाथियों की मौजूदगी से अनजान ग्राम कर्रा के गगोलीपारा निवासी विसना राम पिता भोगना कोरवा 50 वर्ष अपने दो साथियों के साथ करवां के ढोढीपारा के जंगल में महान नदी में मछली मारने बीती शाम गए थे। उन्होंने नदी में मछली मारने के लिए कांटा डाला था और नदी किनारे आग जलाकर आग ताप रहे थे।

रात करीब एक बजे 32 हाथियों का दल उनके पास पहुंच गया। हाथियों की आहट सुनकर दो ग्रामीण भाग निकले, लेकिन विसना कोरवा वहीं पर पेड़ों की आड़ में छिप गया। हाथियों का दल मौके पर पहुंच गया और हाथियों ने घेरकर विसना राम को पटक-पटककर मार डाला। हाथियों का दल काफी देर तक मौके पर डटा रहा। बाद में हाथी पास के अलखडीहा जंगल में चले गए। विसना कोरवा के साथ मछली मार रहे ग्रामीणों ने गांव में पहुंचकर घटना की जानकारी ग्रामीणों को दी।

सुबह नदी में मिला शव
ग्रामीणों की सूचना पर मंगलवार सुबह राजपुर एसडीओ फारेस्ट रविशंकर श्रीवास्तव, रेंजर महाजन साहू के नेतृत्व में वनविभाग का अमला मौके पर पहुंचा। खोजबीन करने पर विसना कोरवा का शव महान नदी में फंसा हुआ मिला। शव को निकलवाकर पीएम के लिए भेज दिया गया है। हाथियों द्वारा मारा गया ग्रामीण विसना कोरवा दीपावली मनाने के लिए अपने भतीजे पुरषोत्तम कोरवा के घर गया था। देर शाम दीपावली मनाने के बाद वह मछली मारने चला गया था।