मुंबई । शिवसेना ने राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ प्रमुख मोहन भागवत  के इस बयान का समर्थन किया कि ‘‘हर मस्जिद में शिवलिंग ढूंढने और प्रतिदिन एक नया विवाद खड़ा करने की जरूरत नहीं है।''  पार्टी शिवसेना  ने कहा कि इसके बजाय मुख्य जोर इस बात पर होना चाहिए कि कश्मीरी पंडितों की जान कैसे बचाई जाए।  
शिवसेना सांसद संजय राउत ने भारतीय जनता पार्टी  नीत केंद्र सरकार पर निशाना साधते हुए कहा कि (कश्मीर) घाटी से कश्मीरी पंडितों के एक बार फिर से पलायन करने के मद्देनजर, ‘कश्मीर फाइल्स 2' (फिल्म) के जरिये यह दिखाया जाना चाहिए उनकी मौजूदा दशा के लिए कौन जिम्मेदार है।
उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह ने फिल्म ‘कश्मीर फाइल्स' का समर्थन किया, जिससे इसके निर्माता को 400-500 करोड़ रुपये की कमाई करने में मदद मिली, लेकिन कश्मीरी पंडितों की स्थिति नहीं बदली। शिवसेना के राज्यसभा सदस्य राउत ने कहा, ‘‘मैं उनके (भागवत के) बयान का समर्थन करता हूं।  रोज-रोज का शोर-शराबा खत्म होना चाहिए, नहीं तो यह देश को नुकसान पहुंचाएगा।  शिवलिंग ढूंढने के बजाय हमें यह सोचना चाहिए हम कश्मीरियों की जान कैसे बचा सकते हैं।।।कश्मीरी पंडितों की जान कैसे बचाई जा सकती है।'' 
उल्लेखनीय है कि भागवत ने गुरुवार को कहा था कि ज्ञानवापी विवाद में आस्था के कुछ मुद्दे शामिल हैं और इस पर अदालत का फैसला सर्वमान्य होना चाहिए और हर मस्जिद में शिवलिंग ढूंढने और प्रतिदिन एक नया विवाद खड़ा करने की जरूरत नहीं है।  इस बीच, उन्होंने इस घटनाक्रम पर केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह और केंद्र शासित प्रदेश के उपराज्यपाल मनोज सिन्हा की एक आपात बैठक का जिक्र करते हुए जम्मू कश्मीर में स्थिति को ‘सचमुच में गंभीर' करार दिया। राउत ने कहा कि सरकार कोशिश कर रही हैं लेकिन स्थिति 1990 की ओर लौट रही है, जब कश्मीरी पंडितों ने सामूहिक रूप से घाटी से पलायन किया था। राउत ने दावा किया कि भाजपा ने कश्मीरी पंडितों के पुनर्वास का वादा कर वोट हासिल किये लेकिन अनुच्छेद 370 के ज्यादातर प्रावधानों को हटाने के बावजूद जमीनी स्तर पर कोई बदलाव नहीं हुआ है। उन्होंने कहा कि कश्मीरी पंडितों पर हमले हो रहे हैं और उनकी हत्या हो रही है लेकिन सरकार उन्हें सुरक्षा मुहैया करने के लिए कुछ नहीं कर रही है। 
राउत ने कहा कि यदि किसी अन्य पार्टी की सरकार होती तो भाजपा ने इसे बड़ा मुद्दा बना दिया होता।  उन्होंने कहा, ‘‘लेकिन प्रधानमंत्री, गृह मंत्री और कश्मीर में प्रशासन आपसे (भाजपा से) संबद्ध हैं फिर भी कश्मीरी पंडितों की हत्या हो रही है।''